
मुंबई।
संत निरंकारी मिशन के तत्वावधान में महिला सशक्तिकरण एवं आध्यात्मिक उन्नति के उद्देश्य से क्षेत्रीय महिला संत समागम का आयोजन सतगुरु माता सुदीक्षा जी महाराज के मार्गदर्शन में सम्पन्न हुआ। 13 सितंबर को चेंबूर, वाशी, ठाणे, भाईंदर तथा 14 सितंबर को शहद में यह कार्यक्रम आयोजित किया गया।
चेंबूर स्थित निरंकारी सत्संग भवन में हुए समागम में लगभग 1500 महिलाएं शामिल हुईं। मुख्य वक्ता के रूप में भुज (गुजरात) से पधारी बहन ज्योति कमल ने संबोधित करते हुए कहा कि ब्रह्मज्ञान की दृष्टि से सभी में परमात्मा का नूर देखकर प्रेम और सेवा का भाव अपनाना चाहिए।
बहन ज्योति कमल ने आगे कहा कि परमात्मा ने हमें सुंदर जुबान दी है, उससे हमें ईश्वर का गुणगान करना चाहिए । किसी की भी निंदा न करें। हमें हर दिन अपने जीवन एवं व्यवहार का आत्मपरीक्षण करते हुए सतगुरु की संत वृत्ति से युक्त सत्यवादी जीवन जीना चाहिए ।
अंत में आपने कहा कि जिस प्रकार घर में कोई न हो तो चोर चोरी कर जाते हैं, उसी प्रकार जब हम ईश्वर को भूल जाते हैं तो काम, क्रोध, लोभ, अहंकार एवं ईर्ष्या जैसे अवगुण हमारे मन में प्रवेश कर जाते हैं। इसलिए सतगुरु की सीख को याद रखते हुए हम निराकार प्रभु के साथ अटूट नाता बनाए रखें। जीवन में ईश्वर एवं सतगुरु के वचनों को प्राथमिकता देने से जीवन सहज एवं सरल बन जाता है।

कार्यक्रम में हिंदी, मराठी, अंग्रेजी और पंजाबी भाषाओं में व्याख्यान, भक्ति रचनाएं और कविताएं प्रस्तुत की गईं। पूरा वातावरण आध्यात्मिकता और भक्ति से सराबोर रहा।

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