● अंटार्कटिका की बर्फ के नीचे क्या है?

दुनिया के कोने-कोने में वैज्ञानिक नित नई खोजों में लगे रहते हैं। अबकी बार उनकी जिज्ञासा का केंद्र बनी है धरती की सबसे ठंडी और रहस्यमयी जगह अंटार्कटिका। यहां की बर्फ की मोटी चादर के नीचे से कुछ ऐसी रेडियो तरंगें उभरी हैं, जिन्होंने वैज्ञानिकों को चौंका दिया है।
बर्फ के नीचे अज्ञात हलचल
यूनिवर्सिटी ऑफ पेंसिल्वेनिया की एक रिसर्च टीम ने ‘अंटार्कटिक इंपल्सिव ट्रांजिएंट एंटीना’ के माध्यम से इन अजीब रेडियो सिग्नल्स का पता लगाया। ये तरंगें बर्फ की सतह से लगभग 30 डिग्री नीचे से आती पाई गईं। खास बात यह है कि इतनी गहराई और चट्टानी परतों से गुजरने के बाद भी इनका रिकॉर्ड हो पाना मौजूदा विज्ञान के लिए अबूझ पहेली बन गया है।
न्यूट्रीनो की तलाश में मिला संकेत
दरअसल वैज्ञानिक यहां न्यूट्रीनो नामक अदृश्य और अत्यंत सूक्ष्म कणों की खोज कर रहे थे, जो ब्रह्मांड की महाशक्तिशाली घटनाओं जैसे सूर्य, सुपरनोवा या बिग बैंग से निकलते हैं। लेकिन जो सिग्नल उन्हें मिले, वे न्यूट्रीनो नहीं थे। ऐसे संकेत किसी अज्ञात स्रोत या अब तक अज्ञात भौतिक घटना की ओर इशारा कर सकते हैं।
सिद्धांत असमर्थ, तकनीक उन्नयन की तैयारी
फिजिक्स प्रोफेसर स्टेफनी विसल ने फिजिकल रीविव लेटर्स में प्रकाशित अध्ययन में कहा है कि शायद कोई अनदेखी भौतिक प्रक्रिया बर्फ या क्षितिज के निकट सक्रिय हो सकती है लेकिन ठोस प्रमाण अब तक नहीं मिले। वैज्ञानिक अब PUEO नामक और अधिक संवेदनशील उपकरण का सहारा लेने जा रहे हैं ताकि इन संकेतों की गहराई तक जाया जा सके।
क्या यह ब्रह्मांड की नई कहानी है?
यह खोज विज्ञान की उस सीमा तक पहुंचने का संकेत देती है, जहां से आगे आज तक कोई नहीं गया। अंटार्कटिका की बर्फ के नीचे छिपे ये संकेत हमें ब्रह्मांड के कुछ सबसे गहरे रहस्यों की ओर ले जा सकते हैं।