
● मुंबई ।
महाराष्ट्र राज्य निर्वाचन आयोग बीएमसी चुनावों के लिए मसौदा मतदाता सूची को अंतिम रूप देने की समय सीमा बढ़ा सकता है। विपक्षी दलों और नगर निगम अधिकारियों से मिली लगातार शिकायतों के बाद यह कदम संभावित माना जा रहा है। इससे चुनाव कम से कम कुछ हफ्ते पीछे खिसक सकते हैं।
शिवसेना (उबाठा) और मनसे सहित विपक्षी दलों ने मतदाता सूची में दोहरे नाम, हटाए गए वोटरों और मतदाताओं को दूसरे वार्डों में स्थानांतरित किए जाने जैसी बड़ी गड़बड़ियों का आरोप लगाया है। मनपा ने भी आयोग को बताया है कि सूची को दुरुस्त करने में कई तकनीकी अड़चनें आ रही हैं और कई वार्डों में स्थानांतरण संबंधी शिकायतें लगातार बढ़ रही हैं।
राज्य निर्वाचन आयुक्त दिनेश वाघमारे के अनुसार मनपा को मसौदा सूची में सुधार करने का अतिरिक्त अधिकार दिया जा रहा है। इस प्रक्रिया में कुछ और दिन लग सकते हैं, जिससे चुनाव कार्यक्रम आगे बढ़ सकता है।
- मतदाता पहचानने के लिए घर-घर अभियान तेज
बृहन्मुंबई महानगरपालिका ने मतदाता सूची में मौजूद दो-दो नामों की जांच के लिए मंगलवार को समीक्षा बैठक की। इसके बाद 27 नवंबर से 5 दिसंबर तक विशेष घर-घर जांच अभियान शुरू किया जा रहा है। जिन मतदाताओं के नाम एक से अधिक बार दर्ज मिलेंगे, उन्हें परिशिष्ट–1 फॉर्म भरना होगा। फॉर्म न भरने वालों के नाम के आगे विशेष निशान लगा दिया जाएगा। अभियान के दौरान यदि मतदाता घर पर न मिले और नाम हटाना संभव न हो तो मतदान के दिन उनसे लिखित आश्वासन लेकर ही एक स्थान पर मतदान की अनुमति दी जाएगी। जांच के लिए 24 वॉर्डों के 24 सहायक आयुक्त नोडल अधिकारी नियुक्त किए गए हैं। गौरतलब है कि मनपा चुनाव 2017 के बाद पहली बार होने जा रहे हैं। वार्ड परिसीमन में देरी के चलते चुनाव अटके थे। सुप्रीम कोर्ट ने अब 31 जनवरी तक चुनाव कराए जाने का आदेश दिया है।
